तेलुगु के एक अभिनेता हैं - रवि तेजा। लीड रोल में उनसे बेहतर कॉमिक किरदार आज के दौर में शायद ही कोई निभाता हो। लेकिन, फ़िलहाल उनका करियर ख़राब दौर से गुजर रहा है।
हाल ही में आई उनकी फ़िल्म
#MassJathara 5 दिन में मात्र ₹13 करोड़ कमा पाई है, जबकि बजट ₹40 करोड़ है। कइयों ने फ़िल्म का नाम तक नहीं सुना। एक ऐसे दौर में जब दक्षिण भारत की फ़िल्में कमाल कर रही हैं, रवि तेजा इसका फ़ायदा नहीं उठा पा रहे हैं और स्क्रिप्ट का चयन उनके लिए सबसे बड़ी समस्या बन गई है।
पिछले 3 वर्षों में उनकी लगातार 5 फ़िल्में फ्लॉप हुई हैं। उनकी अंतिम सुपरहिट फ़िल्म 'वाल्टेयर वीरय्या' थी जो जनवरी 2023 में आई थी, लेकिन उसमें मेगास्टार चिरंजीवी भी साथ थे। सोलो में 2022 में आई 'धमाका' भी सुपरहिट रही थी। इन दोनों फ़िल्मों के बाद से 'रावणासुर', 'टाइगर नागेश्वर राव', 'ईगल', 'Mr. बच्चन' और अब 'मास जतारा' - 5 फ़िल्में लगातार बॉक्स ऑफिस पर औंधे मुँह गिरी है।
जुलाई 2022 में जब मैंने 'टाइगर नागेश्वर राव' के निर्माता का इंटरव्यू लिया था, तब उनसे मेरा मुख्य सवाल ये भी था कि रवि तेजा अपने करियर के अवसान के दौर में जा रहे हैं, फिर भी ₹55 करोड़ बजट वाली फ़िल्म के लिए क्या उनपर दाँव लगाना ठीक है? उक्त निर्माता ने भरोसा जताया था कि वो जल्द ही कमबैक करेंगे, उन्हें किसी को कुछ साबित करने की आवश्यकता नहीं है।
ध्यान रखिए कि ये वही
#RaviTeja हैं जिनका अभिनय 'विक्रमार्कुदु' में SS राजामौली के निर्देशन पर हावी हो गया था। उसके बाद शायद 'मक्खी' में कन्नड़ अभिनेता सुदीप ही ऐसा कर पाए। 'विक्रमार्कुदु' का रीमेक 'राउडी राठौड़' भी सफल रहा। उनकी 'किक' फ़िल्म और उसका रीमेक सफल रहा। उनकी फ़िल्म 'कृष्णा' और 'भद्रा' का बांग्लादेश तक में रीमेक बना।
6 भाषाओं में 22 रीमेक जिसकी फ़िल्मों पर आधारित थे, 58 वर्ष की उम्र में आज वो संघर्ष कर रहा है। पैन-इंडिया दौर में ये देखना दुःखद है।